उत्तराखंड में भारी बारिश का कहर: देहरादून-उत्तरकाशी में रेड अलर्ट, कई जिलों में स्कूल बंद

देहरादून। उत्तराखंड में मानसून का प्रकोप लगातार ही बढ़ रहा है। मौसम विभाग ने देहरादून व उत्तरकाशी जिलों के लिए रेड अलर्ट भी जारी किया है। इन जिलों में भारी से अत्यधिक भारी बारिश की संभावना भी जताई गई है। वहीं, प्रदेश के अन्य जिलों में ऑरेंज अलर्ट भी लागू रहेगा।

मौसम विज्ञानी रोहित थपलियाल के मुताबिक, आने वाले दिनों में भी बारिश का सिलसिला जारी ही रहने की संभावना है। पहाड़ से लेकर मैदान तक कई दौर की तेज बारिश दर्ज की गई। सुरक्षा को देखते हुए गढ़वाल व कुमाऊं मंडल के अधिकांश जिलों में स्कूल बंद रहे, हालांकि देहरादून व हरिद्वार में विद्यालय खुले ही रहे।

बर्फबारी से बढ़ी ठंड

चमोली जिले में देर शाम बदरीनाथ धाम, हेमकुंड साहिब, फूलों की घाटी, नंदा घुंघटी व रुद्रनाथ की ऊंची चोटियों पर हल्की बर्फबारी भी हुई। ऊंचाई वाले क्षेत्रों में बर्फ गिरने व निचले इलाकों में बारिश से तापमान में भारी गिरावट भी दर्ज की गई।

दून में जलभराव और मंदिर ढहा

राजधानी दून में भी 2 दिन से लगातार बारिश हो रही है। सोमवार को गजियावाला स्थित बीजापुर बांध के पास संसारी माता मंदिर ही ढह गया। कई मकान भी प्रभावित भी हुए। शहर के कई इलाकों में जलभराव से आमजन को परेशानी का सामना भी करना पड़ा। मौसम विभाग के अनुसार, दून का अधिकतम तापमान रविवार को 29 डिग्री था, जो सोमवार को गिरकर 24.9 डिग्री पर भी आ गया।

नदियां उफान पर, पुल बंद

लगातार बारिश से प्रदेश की नदियां उफान पर भी हैं। उत्तरकाशी के स्यानाचट्टी पुल पर यमुना का पानी चढ़ गया, जिसके बाद सुरक्षा की दृष्टि से पुल को यातायात के लिए बंद भी कर दिया गया। गढ़वाल में सौंग, बाणगंगा, अलकनंदा, मंदाकिनी व यमुना का जलस्तर खतरे के निशान के ऊपर है। वहीं कुमाऊं में कोसी व गौरीगंगा भी उफान पर हैं।

384 सड़कें बंद

बारिश से भूस्खलन व मलबा आने के कारण प्रदेश में 384 सड़कें यातायात के लिए बंद भी हो गई हैं। इनमें उत्तरकाशी में 70, टिहरी में 31, चमोली में 51, रुद्रप्रयाग और पौड़ी में 39-39, देहरादून में 48, अल्मोड़ा में 38, नैनीताल में 25, पिथौरागढ़ में 28 व अन्य जिलों की सड़कें भी शामिल हैं।

राज्य आपातकालीन परिचालन केंद्र ने आदेश जारी कर कहा है कि छात्रों की सुरक्षा को देखते हुए सावधानी बरती जाए और भारी बारिश के दौरान उच्च हिमालयी क्षेत्रों में पर्यटकों के आवागमन को अनुमति भी न दी जाए।