लगातार बारिश से यमुनोत्री घाटी संकट में, 12वें दिन भी ठप यातायात

उत्तरकाशी जिले की यमुनोत्री घाटी में लगातार बारिश के चलते हालात बिगड़ते ही जा रहे हैं। यमुनोत्री हाईवे पर जगह-जगह मलबा, बोल्डर व भूधंसाव से मार्ग पिछले 12 दिनों से पूरी तरह से बंद है। स्थिति यह है कि कई स्थानों पर पैदल चलना तक भी मुश्किल हो गया है।

घाटी में एक सप्ताह से बिजली व नेटवर्क सेवाएं ठप हैं, जिससे आपदा प्रभावित लोगों की परेशानियां और भी बढ़ गई हैं। उधर स्याना चट्टी में यमुना नदी का जलस्तर बढ़ने से मोटर पुल के ऊपर से पानी बह रहा है, हालांकि नदी का बहाव सामान्य ही बना हुआ है।

खतरे में मकान और होटल

खराड़ी कस्बे में हाईवे किनारे बने मकानों व होटलों में दरारें दिखाई देने लगी हैं, जिससे स्थानीय लोगों में दहशत भी है।

राहत के लिए हेली सेवा की तैयारी

सड़क, बिजली व संचार व्यवस्था ठप होने से प्रशासन ने हेली सेवा के जरिए खरसाली में राहत सामग्री व डीजल भेजने की तैयारी भी शुरू की है।
क्षेत्रीय खाद्य अधिकारी पी.डी. सौंदाण ने बताया कि जनरेटर चलाने के लिए 80 लीटर डीजल समेत आवश्यक सामग्री भी भेजी जाएगी।

बदरीनाथ हाईवे भी बाधित

इधर, बदरीनाथ राष्ट्रीय राजमार्ग पर गौचर-कमेडा के पास भारी मलबा व बोल्डर आने से यातायात भी बाधित हो गया है। हाईवे खोलने के लिए जेसीबी से मलबा हटाने का काम युद्धस्तर पर जारी भी है।

लगातार बारिश से यमुनोत्री धाम व आसपास के गांवों में जनजीवन पूरी तरह अस्त-व्यस्त भी हो चुका है और प्रशासन राहत-बचाव कार्यों में जुटा भी है।