हरेला पर्व पर राज्यव्यापी पौधारोपण अभियान, मुख्यमंत्री ने रुद्राक्ष का पौधा रोप कर दिया पर्यावरण संरक्षण का संदेश
देहरादून। उत्तराखंड में आज बुधवार को पारंपरिक लोकपर्व हरेला के पावन अवसर पर राज्यव्यापी पौधारोपण कार्यक्रम का आयोजन धूमधाम से किया गया। “हरेला का त्योहार मनाओ, धरती माँ का ऋण चुकाओ” थीम पर आयोजित इस विशेष अभियान की शुरुआत मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने गोरखा मिलिट्री इंटर कॉलेज परिसर में रुद्राक्ष का पौधा रोप कर भी की।
मुख्यमंत्री ने प्रदेशवासियों को हरेला पर्व की शुभकामनाएं देते हुए कहा कि हरेला केवल एक पर्व नहीं, बल्कि यह उत्तराखंड की संस्कृति, प्रकृति और चेतना का प्रतीक भी है। उन्होंने कहा कि इस अवसर पर राज्यभर में लगभग 5 लाख पौधे रोपने का लक्ष्य रखा गया है, जिनमें 50 प्रतिशत पौधे फलदार भी होंगे।
मुख्यमंत्री धामी ने बताया कि इस अभियान में जनसहभागिता को प्रोत्साहित किया जा रहा है। स्वयंसेवी संगठनों, छात्र-छात्राओं, महिला समूहों और पंचायतों को इसमें शामिल किया गया है। उन्होंने जोर देकर कहा कि “पौधा रोपना ही पर्याप्त नहीं, उसकी देखभाल कर पेड़ बनाना ही सच्ची सफलता है।”
उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में पर्यावरण संरक्षण से जुड़े ‘पंचामृत संकल्प’, ‘नेट ज़ीरो इमिशन’, ‘एक पेड़ माँ के नाम’ जैसे अभियानों का उल्लेख करते हुए कहा कि उत्तराखंड सरकार भी इन्हीं लक्ष्यों को आत्मसात करते हुए कार्य कर रही है। इस वर्ष देशभर में 108 करोड़ पौधे रोपने का लक्ष्य रखा गया है।
जल संरक्षण की दिशा में बड़ा कदम: SARRA का गठन
मुख्यमंत्री ने बताया कि राज्य में जल स्रोतों के संरक्षण के लिए स्प्रिंग एंड रिवर रिजुविनेशन अथॉरिटी (SARRA) का गठन किया गया है, जिसके माध्यम से अब तक 6,500 से अधिक जल स्रोतों का संरक्षण और 3.12 मिलियन घन मीटर वर्षा जल का संचयन किया जा चुका है। इसके साथ ही सिंगल यूज प्लास्टिक पर प्रतिबंध और वाहनों में कूड़ेदान अनिवार्य किए जाने जैसे कदम भी उठाए गए हैं।
मुख्यमंत्री ने प्रदेशवासियों से अपील की कि वे अपने जीवन के विशेष अवसरों पर एक पौधा अवश्य लगाएं और उसकी देखभाल करें, ताकि यह आंदोलन जन आंदोलन बन सके।
अन्य नेताओं के विचार:
कृषि मंत्री गणेश जोशी ने कहा कि हरेला पर्व उत्तराखंड की सदियों पुरानी सांस्कृतिक परंपरा है और यह हमें प्रकृति के प्रति अपनी जिम्मेदारी निभाने की प्रेरणा देता है।
वन मंत्री सुबोध उनियाल ने बताया कि हरेला पर्व इस बार राज्य के 2,389 स्थानों पर मनाया जा रहा है। उन्होंने कहा कि पिछले तीन वर्षों में लगाए गए पौधों का सर्वाइवल रेट 80 प्रतिशत से अधिक रहा है। जल स्तर की गिरावट को गंभीर विषय बताते हुए उन्होंने पौधारोपण और जलधाराओं के संरक्षण की आवश्यकता पर बल दिया।
इस अवसर पर विधायक सविता कपूर, खजान दास, देहरादून के मेयर सौरभ थपलियाल, मुख्य सचिव आनंद बर्द्धन, प्रमुख सचिव आर.के. सुधांशु, पुलिस महानिदेशक दीपम सेठ, प्रमुख वन संरक्षक समीर सिन्हा समेत अनेक गणमान्य अतिथि और वन विभाग के अधिकारी उपस्थित रहे।







