शंकराचार्य अविमुक्तेश्वरानंद ने बांके बिहारी मंदिर को ट्रस्ट बनाए जाने का किया विरोध, वीडियो संदेश में जताई आपत्ति

जगद्गुरु शंकराचार्य स्वामी अविमुक्तेश्वरानंद सरस्वती महाराज ने उत्तर प्रदेश सरकार द्वारा वृंदावन स्थित बांके बिहारी मंदिर को ट्रस्ट के अंतर्गत लाने की योजना का कड़ा विरोध भी किया है। उन्होंने आज मंगलवार को काशी से वीडियो संदेश जारी कर अपनी आपत्ति सार्वजनिक रूप से दर्ज भी कराई।

शंकराचार्य ने कहा कि बांके बिहारी मंदिर न केवल श्रद्धालुओं की आस्था का केंद्र है, बल्कि सनातन परंपरा व सेवायत परंपरा का प्रतीक भी है। ऐसे में मंदिर की व्यवस्था को ट्रस्ट के हवाले करना धर्म व संस्कृति के खिलाफ भी है। उन्होंने सरकार से अपील की कि मंदिरों के धार्मिक स्वरूप में हस्तक्षेप न किया जाए व परंपरागत सेवायतों की भूमिका को सुरक्षित भी रखा जाए।

उन्होंने यह भी कहा कि मंदिरों को सरकारी नियंत्रण में लेना किसी भी रूप में उचित नहीं है और इससे धार्मिक स्वतंत्रता व परंपरा पर आघात होता है। शंकराचार्य ने चेताया कि यदि सरकार ने यह कदम वापस नहीं लिया, तो देशभर में संत समाज आंदोलन के लिए बाध्य भी होगा।

उनके इस वीडियो बयान के बाद मंदिर से जुड़े सेवायतों व संत समाज में भी हलचल तेज हो गई है। कई धार्मिक संगठनों ने भी शंकराचार्य के बयान का समर्थन भी किया है।