हल्द्वानी में छात्राओं की असुरक्षा, संवेदनशील स्थानों की पहचान व समाधान के लिए कार्यशाला आयोजित
हल्द्वानी शहर के 18 स्थान ऐसे हैं जहां से गुजरने में छात्राएं खुद को असुरक्षित महसूस करती हैं। यहां उन्हें मनचलों के गंदे कमेंट और छेड़छाड़ का सामना करना पड़ता है। ऑटो चालकों से जब गलियों या संवेदनशील क्षेत्रों से जाने से मना करती हैं तो वे ऑटो से उतारने की धमकी देते हैं।
छात्राओं ने यह हकीकत डीएम की ओर से बनी कमेटी के सामने बयां की तो महिला अधिकारी भी दंग रह गईं। बीते सोमवार को महिला महाविद्यालय में महिला व बाल विकास विभाग की ओर से असुरक्षित स्थानों के चिह्नीकरण विषय पर कार्यशाला आयोजित की गई। कमेटी की सदस्यों ने छात्राओं को गौरा शक्ति एप और अन्य अधिकारों की जानकारी दी।
कमेटी में शामिल अपर निदेशक प्रशिक्षण ऋचा सिंह व जिला कार्यक्रम अधिकारी अनुलेखा बिष्ट ने छात्राओं से ऐसे स्थानों के बारे में पूछा जहां उन्हें किसी तरह की असुरक्षा महसूस होती हो। पहले तो छात्राएं बताने में आनाकानी करने लगीं। उनका नाम उजागर न करने और समस्या के समाधान का भरोसा दिलाया तो उन्होंने एक के बाद एक 18 स्थान गिना दिए। साथ ही चोरगलिया के मुख्य चौराहे को भी संवेदनशील बताया। कहा, इन जगहों पर नशेड़ी युवकों का जमावड़ा लगा रहता है। छात्राओं पर छींटाकशी और गंदे कमेंट किए जाते हैं।
बताया कि कई बार ऑटो वाले उन्हें गलियों से लेकर आते हैं। जब उनसे कहा जाता है कि इस गली से नहीं मुख्य सड़क से चलो तो वे रास्ते में उतरने के लिए कहकर झगड़ा करने पर उतारू हो जाते हैं। कार्यक्रम में बाल विकास परियोजना अधिकारी हल्द्वानी शिल्पा जोशी, रेनू मर्तोलिया, एनएसएस प्रभारी डा. ऋतुराज पंत, डा. गीता पंत आदि मौजू रहे।