महंगाई की मार: कैलाश मानसरोवर यात्रा के लिए अब चुकाने होंगे 56 हजार रुपये, पांच साल बाद 30 जून से होगी यात्रा शुरू
देहरादून। 5 वर्ष के लंबे अंतराल के बाद इस वर्ष एक बार फिर कैलाश मानसरोवर यात्रा शुरू होने जा रही है। लेकिन इस बार श्रद्धालुओं को यात्रा पर महंगाई की मार भी झेलनी पड़ेगी। कुमाऊं मंडल विकास निगम (KMVN) के माध्यम से लिपुलेख दर्रे के रास्ते होने वाली इस यात्रा के लिए अब श्रद्धालुओं को 35,000 की बजाय 56,000 रुपये का भुगतान भी करना होगा।
KMVN इस राशि में श्रद्धालुओं के आने-जाने, ठहरने व भोजन आदि की व्यवस्था करेगा। हालांकि, इसके अतिरिक्त मेडिकल जांच, चीन का वीजा, कुली, टट्टू, चालक, तिब्बत स्वायत्त क्षेत्र और चीन सीमा के खर्च श्रद्धालुओं को खुद ही उठाने होंगे। यह खर्च विदेश मंत्रालय की गाइडलाइन के अनुसार ही होगा।
30 जून से यात्रा होगी प्रारंभ, 50-50 यात्रियों के पांच जत्थे जाएंगे
प्रबंध निदेशक विनीत तोमर ने जानकारी दी कि कैलाश मानसरोवर यात्रा 30 जून 2025 से शुरू भी होगी। कुल 5 जत्थे भेजे जाएंगे, जिनमें प्रत्येक में 50 श्रद्धालु शामिल भी होंगे। शेष जत्थे क्रमश: 4 जुलाई, 8 जुलाई, 31 जुलाई व 4 अगस्त को दिल्ली से रवाना होंगे।
यात्रा का पहला पड़ाव टनकपुर होगा, जहां रात्रि विश्राम के बाद यात्रियों को धारचूला ले जाया जाएगा। यहां 2 दिन रुकने के बाद श्रद्धालु नाभीढांग पहुंचेंगे और फिर लिपुलेख दर्रे के रास्ते तकलाकोट (चीन) में प्रवेश भी करेंगे।
वापसी में होंगे कई धार्मिक स्थलों के दर्शन
वापसी के दौरान श्रद्धालु बूंदी, चौकोड़ी, गंगोलीहाट, हाट कालिका, पाताल भुवनेश्वर, अल्मोड़ा, जागेश्वर, गोलज्यू मंदिर चितई, भीमताल व कैंचीधाम में दर्शन भी करेंगे। यात्रा का समापन काठगोदाम होते हुए दिल्ली में होगा।
KMVN के प्रबंध निदेशक विनीत तोमर ने बताया कि “यात्रियों को इस बार 56,000 रुपये निगम को चुकाने होंगे, जो यात्रा के आवास, भोजन व परिवहन से संबंधित खर्चों के लिए हैं। शेष खर्चों की व्यवस्था यात्रियों को खुद ही करनी होगी।”