रुड़की में युवती की नृशंस हत्या मामले में कोर्ट का बड़ा फैसला: एक को फांसी, दूसरे को आजीवन कारावास

रुड़की। 4 वर्ष पहले शादी से इंकार करने पर अनुसूचित समाज की एक युवती की घर में घुसकर चाकू से गला रेतकर हत्या करने के मामले में अदालत ने 2 दोषियों को सजा सुनाई है। अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश रमेश सिंह की अदालत ने मुख्य आरोपी हैदर अली को फांसी की सजा और उसके साथी रिहान उर्फ आरिश को सश्रम आजीवन कारावास की सजा भी सुनाई है। दोनों पर 50-50 हजार रुपये का अर्थदंड भी लगाया गया है।

हत्या के पीछे शादी से इंकार बना कारण

यह सनसनीखेज वारदात 24 अप्रैल 2021 को गंगनहर कोतवाली क्षेत्र के कृष्णानगर टीचर्स कॉलोनी में हुई थी। पीड़िता के भाई दिनेश ने बताया था कि हैदर अली, निवासी सफरपुर, उसकी बहन निधि पर शादी के लिए दबाव भी बना रहा था। बहन के इंकार करने पर हैदर ने अपने साथियों रिहान उर्फ आरिश (निवासी शाहपुर) और एक अन्य युवक के साथ मिलकर दोपहर के समय घर में घुसकर निधि पर चाकू से हमला कर उसकी गला रेतकर हत्या भी कर दी।

तत्काल गिरफ्तारी, कोर्ट में पेश हुआ मामला

पुलिस ने तत्परता दिखाते हुए तीनों आरोपियों को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया था। इस मामले की जांच तत्कालीन प्रभारी निरीक्षक अमरजीत सिंह को भी सौंपी गई थी, जिन्होंने 5 अप्रैल 2022 को अदालत में चार्जशीट दाखिल की। मामले का एक आरोपी विधि विवादित किशोर है, जिसका मुकदमा अभी जुवेनाइल कोर्ट में लंबित भी है।

न्यायिक फैसले में दिखा सख्त रुख

मामले की सुनवाई के दौरान न्यायाधीश ने गवाहों व उपलब्ध साक्ष्यों के आधार पर हैदर अली को हत्या का दोषी मानते हुए फांसी की सजा सुनाई। वहीं, दूसरे आरोपी आरिश को सश्रम आजीवन कारावास की सजा भी दी गई।

यह फैसला समाज में एक सख्त संदेश देने वाला माना जा रहा है कि महिलाओं की स्वतंत्रता व असहमति का उल्लंघन करने वालों को बख्शा नहीं जाएगा।