इंडिया गठबंधन के बीच हरिद्वार लोस सीट पर अब सपा की निगाहें, ऐसा रहेगा वोटों का गणित

आगामी लोकसभा चुनाव के लिए उत्तर प्रदेश में समाजवादी पार्टी व कांग्रेस गठबंधन के बीच अब समाजवादी पार्टी उत्तराखंड की टीम को हरिद्वार सीट पर टिकट का ही इंतजार है। इस सीट पर लोकसभा चुनाव में पार्टी का प्रत्याशी एक बार जीत दर्ज भी कर चुका है। वहीं, एक बार विधानसभा चुनाव में प्रत्याशी ने यहां जीत भी दर्ज की थी। आलाकमान ने अभी 10 मार्च तक का समय भी दिया है।

 

वोटों के गणित के हिसाब से समाजवादी पार्टी अपने लिए हरिद्वार सीट को मुफीद भी मानती है। 1996 के विधानसभा चुनाव में पार्टी प्रत्याशी अमरीश कुमार व 2004 लोकसभा चुनाव में उनके प्रत्याशी राजेंद्र कुमार के चुनाव जीतने के बाद से हर चुनाव में सपा इस सीट पर अपनी जीत की जुगत भिड़ाती ही आई है। इस बार भी राज्य के सपा नेताओं की निगाहें इस सीट पर ही हैं, जिसकी तैयारी अंदरखाने चल रही है।

 

इस बीच यूपी में सपा व कांग्रेस का गठबंधन भी हो गया है। ऐसे में मुश्किल ये है कि कांग्रेस के हाथों से उत्तराखंड की पांचों लोकसभा सीटों में से कोई सपा के हाथ आएगी भी या नहीं, इस पर पार्टी आलाकमान को निर्णय भी लेना है। सपा के प्रदेश अध्यक्ष शंभूनाथ पोखरियाल का कहना है कि आलाकमान ने अभी 10 मार्च तक इंतजार भी करने को कहा है।

 

इसके बाद तय होगा कि उनका प्रत्याशी उत्तराखंड के चुनावी मैदान में दम दिखाएगा या फिर नहीं। पार्टी के राष्ट्रीय सचिव डॉ. सत्यनारायण सचान का कहना है कि अभी आलाकमान को इस पर भी निर्णय लेना है। बताया, राज्य की ओर से हरिद्वार सीट पर ही दावा भी पेश किया गया है।

 

यूपी के गठबंधन के हिसाब से देखें तो अगर सपा को उत्तराखंड में कोई सीट नहीं मिली तो पार्टी पांचों सीटों पर कांग्रेस को ही समर्थन दे सकती है। पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव को इस पर निर्णय भी लेना है।