ऋषिकेश में तेल कलश गाडू घड़ा यात्रा के दर्शन के लिए श्रद्धालुओं की भीड़ उमड़ी, दोपहर बाद कलश यात्रा ऋषिकेश से मुनि की रेती के लिए रवाना

ऋषिकेश में तेल कलश गाडू घड़ा यात्रा के दर्शन के लिए श्रद्धालुओं की भारी भीड़ उमड़ी। दोपहर बाद कलश यात्रा ऋषिकेश से मुनि की रेती के लिए रवाना भी होगी। आज शुक्रवार रात मुनि की रेती में विश्राम करने के बाद यात्रा कल शनिवार को श्रीनगर के लिए रवाना होगी।

 

श्रीबदरीनाथ धाम गाडू घड़ा तेल कलश यात्रा बीते गुरुवार 25 अप्रैल की देर शाम नरेंद्र नगर राज दरबार से निकली थी। आज शुक्रवार को ऋषिकेश में श्रद्धालुओं को यात्रा के दर्शन का पुण्य भी प्राप्त हुआ। 11 मई की शाम कई पड़ावों से होते हुए यात्रा बदरीनाथ धाम में पहुंचेगी व 12 मई को धाम के कपाट श्रद्धालुओं के दर्शनार्थ के लिए खोले जाएंगे।

 

गुरुवार को राजमहल नरेंद्र नगर में परंपरानुसार डिमरी धार्मिक केंद्रीय पंचायत पदाधिकारियों की उपस्थिति में महारानी माला राज्य लक्ष्मी शाह व सुहागिन महिलाएं भगवान बदरी विशाल के अभिषेक के लिए तिलों से तेल पिरोकर चांदी के कलश में भी रखा। पूजा-अर्चना के बाद राजमहल में तेल का कलश गाडू घड़ा डिमरी धार्मिक केंद्रीय पंचायत पदाधिकारियों को भी सौंपा गया।

 

भगवान बदरीनाथ के अभिषेक के उपयोग में लाया जाने वाला तिल का तेल नरेंद्रनगर राजदरबार में ही पिरोया जाता है। और यह तेल गाड़ू घड़ा में डाला भी जाता है। गाडू घड़ा तेल कलश यात्रा नरेंद्रनगर राजदरबार से रवाना हुई और शाम को ऋषिकेश में पहुंची। 7 मई तक गाडूघड़ा तेल कलश लक्ष्मी नारायण मंदिर में स्थापित भी कर दिया जाएगा। 8 को यात्रा सिमली, कर्णप्रयाग होते हुए पाखी गांव में पहुंचेगी। 9 को नृसिंह मंदिर जोशीमठ व 10 को यात्रा आदि गुरु शंकराचार्य की गद्दी, बदरीनाथ के रावल (मुख्य पुजारी), धर्माधिकारी और वेदपाठियों के साथ रात्रि प्रवास के लिए योगध्यान मंदिर पांडुकेश्वर पहुंचेगी।